टाटा मोटर्स ने लिया सडक़ दुर्घटनाएं कम करने का नया जिम्मा
भारत में सडक़ों चलने वाले अनेक प्रकार के वाहनों से आए दिन कई स्थानों पर दुर्घटनाएं होती रहती हैं। इन वाहन दुर्घटनाओं को रोकने के लिए समय-समय पर यातायात पुलिस और परिवहन विभाग आवश्यक कदम उठाता रहते हैं लेकिन सडक़ हादसों में अपेक्षित कमी नहीं आ पाती। एक अनुमान के आधार पर हर साल देश में औसतन डेढ़ लाख लोगों की जान सडक़ हादसों में चली जाती है। ऐसे में भारत की शीर्ष वाणिज्यिक वाहन निर्माता कंपनी टाटा मोटर्स ने सुरक्षित वाहन देने की अपनी प्रतिबद्धता जारी रखते हुए इसके लिए कुछ खास मानक तय किए हैं। आइए, जानते हैं टाटा मोटर्स किस तरह से इन मानकों के साथ सडक़ परिवहन को सुरक्षित बनाएगा।
टाटा मोटर्स का फोकस ऑटोमोबाइल सुरक्षा के नये मानकों पर
यहां बता दें कि टाटा मोटर्स ने विगत कई सालों में अपने वाहनों के निर्माण में सुरक्षा की प्रतिबद्धता को पूरी तरह से निभाया है। इसके लिए टाटा मोटर्स की ओर से समय-समय पर कई परिवर्तन किए गए हैं। वहीं बढ़े हुए सुरक्षा मानकों पर जोर देते हुए टाटा मोटर्स के अध्यक्ष और सीटीओ ने कहा है कि खरीदारों ने वर्तमान अर्थव्यवस्था और इसके प्रदर्शन जैसी विशेषताओं से कहीं दूर देखना शुरू कर दिया है। ग्राहक खरीदारी से पहले वाहन की सुरक्षा को प्राथमिकता देते हैं। पीवी राजस्व में हमारी वृद्धि उस कर्षण और लोकप्रियता को दर्शाती है। टाटा मोटर्स अपने वाहनों की सुरक्षा को लेकर रोड मैप बना रही है। सुरक्षा के लिए उच्चतम वैश्विक मानकों को प्रदान कर सकते हैं।
टाटा मोटर्स के वाहनों में सुरक्षा का ऐसे रखा जाता है ध्यान
यहां बता दें कि टाटा मोटर्स कंपनी अपने वाहनों के निर्माण के समय कई तरह से सुरक्षात्मक बारीकियों पर पूरा ध्यान देती है। टाटा मोटर्स 1997 में क्रेश टेस्ट फैसिलिटी में निवेश करने वाली पहली भारतीय निर्माता कंपनी थी, उस समय जब भारत में क्रैश टेस्टिंग बेंचमार्क नहीं थे। इसके अलावा कॉम्पैक्ट एसयूवी नेक्सॉन जीएनसीएपी रेटेड 5 स्टार उत्पाद था, जो उपभोक्ताओं के लिए सबसे आगे सुरक्षा लाता था। इसके बाद प्रीमियम हैच अल्टोज ने लांच के समय ही ग्लोबल एनसीएपी 5 स्टार बन कर भारतीय इंडस्ट्री में एक नया बेंचमार्क स्थापित किया।
टाटा मोटर्स के उत्पादों की सुरक्षात्मक विशेषताएं
यहां बता दें कि टाटा मोटर्स के वाहनों के अनेक कलपुर्जों और अन्य उत्पादों में भी सुरक्षात्मक उपाय किए जाते हैं। कंपनी अग्रणी सुरक्षा सुविधाओं जैसे फोर्टिफाइड केबिनों के माध्यम से वयस्क और बच्चों की सुरक्षा को भी सक्रिय रूप प्रदान करती है। इसके तहत टायर प्रेशर मोनिटरिंग सिस्टम, साइड और कर्टन एयरबैग, बाल सुरक्षा के लिए आईएसओफिक्स एंकरेज आदि आते हैं। पिछले कुछ वर्षों में कंपनी ने यात्री वाहनों, इलेक्ट्रिक वाहनों और वाणिज्यिक वाहनों में इलेक्ट्रिानिक स्थिरता नियंत्रण, स्वचालित ट्रैक्शन कंट्रोल और हिल एड जैसी सुरक्षा से संबंधित तकनीकों की एक रेंज लांच की है। यही नहीं कंपनी इलेक्ट्रिक मोबिलिटी उद्योग पर दांव आजमा रही है। उनके ईवी न केवल आंतरिक दहन इंजन समकक्षों के बराबर हैं बल्कि ईवीएस के लिए अनिवार्य अतिरिक्त आवश्यकताओं को भी पूरा करते हैं।
टाटा मोटर्स कंपनी के बारें में
बता दें कि टाटा मोटर्स भारत की सबसे बड़ी कमर्शियल वाहन निर्माता है। इसका कारोबार 100 अरब डॉलर से भी ज्यादा का है। कंपनी की स्थापना 1945 में पहले डीजल ट्रक मर्सिडीज के साथ हुई थी। इस कंपनी की स्थापना जहांगीर रतनजी दादा भाई टाटा ने की थी। यह कंपनी ट्रक, कार, बस आदि पैसेंजर और कमर्शियल वाहनों का उत्पादन करती है। एक अनुमान के अनुसार टाटा मोटर्स अब तक करीब 90 लाख से ज्यादा वाहन बेच चुकी है। टाटा मोटर्स के 6600 सेल्स और सर्विस प्वाइंट्स हैं। बता दें कि टाटा का सबसे लोकप्रिय और 2022 का ट्रक मॉडल टाटा ऐस गोल्ड, टाटा इंट्रा वी-30 एवं टाटा इंट्रा वी 10 है।
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