Posted On : 30 June, 2024
राष्ट्रीय राजमार्गों पर मोटर चालकों को बिना किसी रुकावट के टोलिंग एक्सपीरियंस मिल सके, इसके लिए हाल ही में एनएचएआई की सहायक कंपनी इंडियन हाईवेज मैनेजमेंट कंपनी लिमिटेड (आईएचएमसीएल) ने भारत में ग्लोबल नेविगेशन सैटेलाइट सिस्टम (जीएनएसएस) आधारित इलेक्ट्रॉनिक टोल संग्रह के रोलआउट पर चर्चा करने के लिए एक दिवसीय वर्कशॉप आयोजित किया। केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि थे, जिसमें कई वरिष्ठ अधिकारियों ने भाग लिया। कार्यशाला में भाग लेने वाले अमेरिका और यूरोप के इंडस्ट्री एक्सपर्ट्स भी थे जिन्होने भारत में जीएनएसएस टेक्नोलोजी पर फ्री-फ्लो टोलिंग प्रणाली के एक्जीक्यूशन पर और इससे जुड़े कई पहलुओं पर विचार किया। इस अवसर पर सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्रालय, एनएचएआई, आईएचएमसीएल के वरिष्ठ अधिकारियों के अलावा, आईआईटी, एनआईसी, एनपीसीआई, सी-डैक, एचओए (आई), एनएचबीएफ, आईआरएफ, सियाम, आदि वित्तीय संस्थानों के साथ अग्रणी ग्लोबल टेक्नोलॉजी कंपनियों के प्रतिनिधि उपस्थित थे।
केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि ग्लोबल नेविगेशन सैटेलाइट सिस्टम तकनीक नेविगेशन और पोजिशनिंग को बढ़ाती है। टोल कलेक्शन को आधुनिक करने के लिए, बिना रुकावट यात्रा पूरा करने की दिशा में यह तकनीक बहुत कारगर हो सकती है। यह हमारी सड़कों पर भीड़ को कम करने में भी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा, ''हम नागरिकों के जीवन को आसान बनाने, अपने काम को ज्यादा से ज्यादा पारदर्शी बनाने की दिशा में तेजी से काम कर रहे हैं। साथ ही हम यूजर्स को क्विक सर्विसेज प्रदान करने की दिशा में भी लगातार काम कर रहे हैं।
जीएनएसएस तकनीक के सही एक्जीक्यूशन से वर्तमान में चल रही FasTag टोल कलेक्शन प्रणाली को रिप्लेस किया जा सकता है। एनएचएआई तेजी से इस दिशा में काम कर रही है, ताकि टोल प्लाजा की जरूरतों को खत्म की जा सके और बिना किसी रुकावट जीएनएसएस तकनीक से टोल सीधे बैंक अकाउंट से लिया जा सके।
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